​सतना जिले में ब्लैक फंगस का खतरा, चार मरीज आए सामने : रीवा मेडिकल कालेज में भर्ती

 

सतना। कोरोना आपदा के बाद अब ​सतना जिले में ब्लैक फंगस का खतरा मंडराने लगा है। यहां अब तक चार केस सामने आ चुके है। पहला मामला शहर के बांधवगढ़ में रहने वाली युवती तो दूसरा मामले में कांग्रेस नेता को लक्षण दिखे है। जबकि तीसरा और चौथा मामला कोठी क्षेत्र के किटहा और खाम्हा गांव के रहने वाले है। हालांकि दो मरीज जलबपुर के निजी अस्पताल में अपने स्तर से उपचार करा रहे है। वहीं कोठी क्षेत्र में मिले दो रोगियों को वरिष्ठ ​अधिकारियों के निर्देश के बाद रीवा मेडिकल कॉलेज में उपचार चल रहा है।

1- युवती के नाक की हुई सर्जरी

सतना शहर के बांधवगढ़ कालोनी में रहने वाली 19 वर्षीय युवती सर्दी जुकाम और बुखार से पीड़ित थी। कोरोन की जांच कराई तो संक्रमित पाई गई। कोरोना से रिकवर होने के बाद युवती घर पर ही आइसोलेट थी। चार दिन बाद नाक में एकाएक काले तरल पदार्थ का स्त्राव होने लगा। आंख में हल्की सूजन भी आ गई। युवती को लेकर परिजन निजी अस्पताल गए। चिकित्सकों ने स्क्रीनिंग के बाद युवती को ब्लैक फंगस के लक्षण बताए। ऐसे में परिजन आनन फानन में जबलपुर के निजी अस्पताल लेकर पहुंचे। जहां जांच मे बाद युवती में ब्लैक फंगस की पुष्टि हुई। निजी अस्पताल में नाक की सर्जरी की गई। सर्जरी के बाद युवती के स्वास्थ्य में सुधार बताया जा रहा है।

2- काग्रेस नेता में लक्षण

कांग्रेस के सीनियर नेता बीते दिनों कोरोना संक्रमण के शिकार हो गए थे। जिन्हें सांस लेने में तकलीफ होने पर पर शहर के निजी हास्पिटल में परिजनों ने भर्ती कराया। जो संक्रमण मुक्त होकर चार दिन पहले घर लौटे आए। कुछ दिन बाद उनके चेहरे और आंख में सूजन आ गई। परिजन उन्हें लेकर दोबारा शहर के निजी हास्पिटल पहुंचे। चिकित्सकों ने स्क्रीनिंग के बाद ब्लैक फंगस की आशंका जताई। ऐसे में जबलपुर के निजी अस्पताल में दाखिल कराया गया है।

3- आंख में दर्द से पता चला लक्षण

मेडिकल ऑफीसर डॉ. मयंक तिवारी ने बताया कि पांच दिन दिन पहले किटहा निवासी 40 वर्षीय युवक सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र पहुंचा था। उन्होंने कहा कि उनकी एक आंख और उसके ऊपर तेज दर्द हो रहा है। उन्होंने यह भी शिकायत की कि एक आंख उनकी धीरे बंद हो रही है। यह युवक कोरोना संक्रमित रह चुके हैं और इनका ऑक्सीजन लेवल बेहद कम था डॉक्टर को यह ब्लैक फंगस के लक्षण लगे तो उन्होंने इसकी जानकारी उच्चाधिकारियों को दी। इसके बाद युवक को रीवा मेडिकल जाने की सलाह दी गई।

4- नहीं खुल रही आंख

तीन दिन पहले खाम्हा निवासी 30 वर्षीय युवक सीएचसी जाकर डॉक्टर से मुलाकात कर बताया कि उसकी बाई आंख नहीं खुल रही और तेज दर्द हो रहा है। डॉक्टर ने उसे भी रीवा रेफर कर दिया। सूत्रों ने बताया कि युवक कोरोना संक्रमित होने और एसपीओ 2 बेहद कम होने के बावजूद भर्ती नहीं हुआ था। मगर डॉक्टर की निगरानी में कोविड-19 की पूरी दवाइयां खा रहा था। ऑक्सीजन लेवल 80 के आसपास होने की वजह से मरीज को इंजेक्शन के रूप में स्टॉरायड के हैवी डोज लगाए गए थे। उसे 80-80 एमजी स्टॉरायड के इंजेक्शन लगाए गए थे इसके बाद टेबलेट फॉर्म में भी स्टॉरायड खिलाई गई थी। ऐसे में मधुमेह का रोगी समझ में आया हैं। ब्लैक फंगस की पुष्टि के लिए रीवा रेफर किया गया है।