BHOPAL : अब सरकारी स्कूल के पहली से आठवीं तक के बच्चे करेंगे PROJECT WORK

 
सरकारी स्कूलों के पहली से आठवीं तक के विद्यार्थी अब पढ़ाई के साथ ही प्रोजेक्ट वर्क भी करेंगे। हर विषय में 40 फीसद कोर्स को प्रोजेक्ट आधारित कर दिया गया है। प्रोजेक्ट वर्क विद्यार्थियों को गृह कार्य के रूप में दिया जाएगा, जिसे वह घर पर ही तैयार करेंगे। वहीं 60 फीसद कोर्स कक्षा आधारित होगा।यह निर्णय स्कूल शिक्षा विभाग ने कोरोना महामारी को लेकर किया है। अभी स्कूलों में 30 सितंबर तक की छुट्टी घोषित है। प्रायमरी व मिडिल स्कूल नवंबर से खुलने की संभावना है। ऐसे में सिर्फ तीन माह में पूरा कोर्स पढ़ाना मुश्किल होगा।
विभाग की योजना प्रायमरी व मिडिल के बच्चों को सप्ताह में दो या तीन दिन स्कूल बुलाने का है। इस कारण पहली से आठवीं तक के कोर्स को गृह कार्य आधारित किया गया है। इस संबंध में राज्य शिक्षा केंद्र ने निर्देश जारी कर दिए हैं। सामान्य दिनों में स्कूल 200 या 220 दिन लगते हैं। इस बार 100 से भी कम दिन लगने वाले हैं।हर पाठ में दो से तीन प्रोजेक्टपहली से आठवीं कक्षा में हिंदी, अंग्रेजी, विज्ञान, सामाजिक विज्ञान, गणित आदि सभी विषयों में प्रोजेक्ट वर्क होगा। सभी विषयों के हर पाठ में दो से तीन प्रोजेक्ट बनाने के लिए दिए जाएंगे।
अभी तक 9वीं से 12वीं में प्रोजेक्ट दिए जाते हैं। इस तरह के होंगे प्रोजेक्टहिंदी- बाढ़ आने की स्थिति अपने आसपास होने वाले नुकसान और ऐसी स्थिति में क्या करना चाहिए या पिछले दिनों कहीं भ्रमण पर गए हो तो उसका विवरण लिखिए या वर्षा ऋतु में आप कैसे समय व्यतीत करते हैं, आपके आसपास कोई जलप्रपात हो तो उसका विवरण लिखिए। आपने कभी किसी की मदद की है यदि हां तो लिखिए। अंग्रेजी- कान्हा किसली में पाए जाने वाले प्राणियों व पक्षियों की सूची बनाएं एवं उनके बारे में लिखें, अपने आसापास लगने वाले हाट-बाजार आदि में दुकानदार कौन-कौन से सामान बेचते हैं। इस पर चित्र बनाओ और वाक्य लिखें।

वर्तमान में कोरोना संक्रमण के कारण स्कूल खुलने की संभावना कम है, इसलिए पहली से आठवीं तक के पाठ्यक्रम को 60 फीसद कक्षा आधारित और 40 फीसद गृह कार्य के लिए तैयार किया गया है। - लोकेश कुमार जाटव, आयुक्त राज्य शिक्षा केंद्र
आपदा की स्थिति में गृह कार्य में प्रोजेक्ट बनाने के लिए विद्यार्थियों को दिया जाएगा तो उनकी हर विषय में समझ विकसित होगी। 
सुनीता सक्सेना, शिक्षाविद्