CM शिवराज ने लाडली बहना के बाद युवाओं को दी बड़ी सौगात : प्रतिमाह मिलेंगे 10 हजार रुपये, फटाफट क्लिक करके पढ़िए यह बड़ी अपडेट

 
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भोपाल। सवा करोड़ लाड़ली बहनों के बाद मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने युवाओं को बड़ी सौगात दी है। प्रदेश के विभिन्न विभागों में एक लाख रिक्त पदों पर भर्ती की प्रक्रिया करने के साथ अब सरकार बेरोजगार युवाओं को आत्मनिर्भर बनाने के लिए कौशल विकास का प्रशिक्षण भी दिलाएगी।

इसके लिए 18 से 29 वर्ष के युवाओं को विभिन्न प्रतिष्ठित कंपनियों और संस्थाओं में प्रशिक्षण के लिए भेजा जाएगा। इसके साथ ही उनकी कमाई भी प्रारंभ हो जाएगी। प्रतिमाह युवाओं को आठ से लेकर दस हजार रुपये प्रतिमाह मिलेंगे। इसके लिए मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की अध्यक्षता में युवाओं के लिए विशेष रूप से आयोजित कैबिनेट बैठक में मुख्यमंत्री सीखो-कमाओ योजना को मंजूरी दी गई। इसमें 12वीं से लेकर स्नातकोत्तर करने वाले युवा शामिल होंगे। 31 अगस्त 2023 से प्रशिक्षण प्रारंभ होगा मुख्यमंत्री ने कहा कि एक लाख से ज्यादा युवाओं को इस योजना का लाभ मिलेगा। इसके लिए एक हजार करोड़ रुपये की स्वीकृति दी गई है।

बेरोजगारी भत्ता बेमानी और बैसाखी, हम चाहते हैं युवा बनें आत्मनिर्भर
बैठक के बाद मुख्यमंत्री ने बताया कि बेरोजगारी भत्ता बेमानी और बैसाखी के समान है। हम अपने प्रदेश के युवाओं को आत्मनिर्भर बनाना चाहता हैं। इसके लिए युवाओं को प्रशिक्षित कराकर रोजगार के अवसर उपलब्ध कराने के उद्देश्य से मुख्यमंत्री सीखो-कमाओ योजना लागू की जा रही है। इसमें प्रदेश के स्थानीय निवासी युवाओं को एक साल के प्रशिक्षण के लिए अलग-अलग क्षेत्रों के संस्थानों में भेजा जाएगा। यहां वे प्रशिक्षण लेंगे और इससे साथ-साथ उनकी कमाई भी प्रारंभ हो जाएगी।

प्रतिमाह आठ से दस हजार रुपये मिलेगा। योजना के लागू होने पर प्रदेश के युवाओं को इधर-उधर भटकना नहीं पड़ेगा। योजना के लिए विभिन्न क्षेत्रों के प्रतिष्ठानों की 22 मई से छह जून तक कार्यशाला होगी। इसी तरह एक जून से 14 जून तक संभाग स्तर पर कार्यशालाएं की जाएंगी। बैठक में योजना को लेकर तकनीकी शिक्षा विभाग के अधिकारियों द्वारा प्रस्तुतीकरण दिया गया। सभी मंत्रियों ने योजना की सराहना करते हुए इसका व्यापक प्रचार-प्रसार करने की आवश्यकता बताई ताकि अधिक से अधिक युवा लाभांवित हो सकें।

कौन होंगे पात्र
योजना के लिए 18 वर्ष से लेकर 29 वर्ष तक के मध्य प्रदेश के निवासी युवा पात्र होंगे। इसमें 12वीं, आइटीआइ, स्नातक या स्नोतकोत्तर वाले युवाओं को शामिल किया जाएगा। इन्हें इंजीनियरिंग, इलेक्ट्रानिक्स, मैकेनिकल, सिविल, मैनेजमेंट एवं मार्केटिंग, सेवा क्षेत्र, होटल मैंनेजमेंट, पर्यटन एवं परिवहन, अस्पताल, रेलवे, आइटी, साफ्टवेयर डेवलपमेंट सहित ऐसे क्षेत्रों में प्रशिक्षण से जोड़ा जाएगा, जहां से प्रशिक्षित होने के बाद रोजगार का कोई संकट न रहे। प्रशिक्षण पूरा करने के बाद मध्य प्रदेश राज्य कौशल विकास एवं रोजगार निर्माण बोर्ड द्वारा युवाओं को स्टेट काउंसिल फार वाकेशनल ट्रेनिंग का प्रमाण-पत्र भी दिया जाएगा।

किसे क्या मिलेगा
प्रशिक्षण के दौरान पांचवीं से 12वीं उत्तीर्ण युवाओं को आठ हजार रुपये प्रतिमाह मिलेंगे। वहीं, आइटीआइ उत्तीर्ण युवाओं को साढ़े आठ हजार, डिप्लोमाधारी को नौ हजार और स्नातक या उच्च शिक्षित युवा को 10 हजार रुपये स्टाइपेंड दिया जाएगा। 75 प्रतिशत राशि राज्य सरकार की ओर से दी जाएगी तो शेष 25 प्रतिशत राशि संबंधित प्रतिष्ठान युवा के बैंक खाते में जमा करेंगे। बैठक में बताया गया कि यदि प्रतिष्ठान निर्धारित राशि से अधिक स्टाइपेंड देना चाहते हैं तो वे इसके लिए स्वतंत्र होंगे।

कब-कब क्या होगा
- सात जून 2023 से प्रतिष्ठानों का पंजीयन।
- 15 जून 2023 से युवाओं का पंजीयन।
- 15 जुलाई 2023 से युवाओं के आवेदन लेने की शुरुआत।
- 31 जुलाई से प्रतिष्ठानों और शासन के मध्य अनुबंध।
- एक अगस्त 2023 से युवाओं की उपस्थिति शुरू होगी।
- 31 अगस्त 2023 से प्रशिक्षण प्रारंभ होगा। अगले माह युवाओं के खाते में राशि पहुंचेगी।

1.41 करोड़ युवा मतदाताओं पर नजर
प्रदेश में नवंबर में विधानसभा के चुनाव हैं। एक जनवरी 2023 की स्थिति में एक करोड़ 41 लाख 34 हजार 168 युवा मतदाता हैं। इसमें 18 से 19 वर्ष के 11 लाख 81 हजार 747 मतदाता हैं। जबकि, 20 से 29 वर्ष वर्ष के मतदाता एक करोड़ 29 लाख 52 हजार 421 हैं। एक अप्रैल, एक जुलाई और एक अक्टूबर की स्थिति में 18 वर्ष के होने वाले युवाओं के नाम भी मतदाता सूची में सम्मिलित किए जाएंगे। इनकी संख्या भी पांच लाख से अधिक बताई जा रही है।

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