New Parliament Building Inauguration : 970 करोड़ और 29 महीने में बनी नई संसद आधुनिक सुविधाओं से लैस, सेंगोल के सामने दंडवत हुए PM मोदी, 75 रुपए का सिक्का भी जारी

 
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प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (pm narendra modi) ने रविवार को नए संसद भवन का इनॉगरेशन किया। इस मौके पर लोकसभा स्पीकर ओम बिड़ला (Lok Sabha Speaker Om Birla) भी मौजूद थे। PM मोदी सुबह 7:30 बजे नए संसद भवन पहुंचे, राष्ट्रपिता महात्मा गांधी को नमन किया और फिर हवन-पूजन में बैठे। तमिलनाडु से आए संतों के सेंगोल सौंपने से पहले PM मोदी ने सेंगोल को साष्टांग प्रणाम किया। इसके बाद उन्होंने सेंगोल को सदन में स्पीकर की कुर्सी के बगल में स्थापित किया। कार्यक्रम के दौरान मोदी ने श्रमयोगियों का सम्मान किया, सर्वधर्म सभा भी हुई।

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सेंगोल स्थापना के बाद PM मोदी ने ट्वीट किया- आज का दिन हम सभी देशवासियों के लिए अविस्मरणीय है। नया संसद भवन हम सभी को गर्व और उम्मीदों से भर देने वाला है। इनॉगरेशन प्रोग्राम के दूसरे सेशन में सदन में सांसद और अतिथि मौजूद हैं। इन्हें सेंगोल पर बनी फिल्म दिखाई गई और PM ने 75 रुपए का सिक्का जारी किया।

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सभी भारतीयों को लोकतंत्र के इस स्वर्णिम क्षण की बहुत बधाई
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा- देश आजादी का अमृत महोत्सव मना रहा है। देश के लोगों ने नए संसद भवन का उपहार दिया है। संसद में सर्वधर्म प्रार्थना हुई है। मैं सभी भारतीयों को लोकतंत्र के इस स्वर्णिम क्षण की बहुत बधाई देता हूं। साथियों ये सिर्फ एक भवन नहीं है, ये 140 करोड़ भारतवासियों की आकांक्षाओं और सपनों का प्रतिबिम्ब है। ये विश्व को भारत के दृढ़संकल्प का संदेश देता हमारे लोकतंत्र का मंदिर है।

नया भवन विकसित भारत के संकल्पों की सिद्धि होते हुए देखेगा
PM ने कहा- नया संसद भवन योजना को यथार्थ से, नीति को निर्माण से, संकल्प को सिद्धि से जोड़ने वाली अहम कड़ी साबित होगा। नया भवन स्वतंत्रता सेनानियों के सपनों को साकार करने का आधार बनेगा। नया भवन आत्मनिर्भर भारत के नए सूर्य का साक्षी बनेगा। नया भवन विकसित भारत के संकल्पों की सिद्धि होते हुए देखेगा। नूतन और पुरातन के सह अस्तित्व का भी आदर्श है।

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विश्व भारत को आदर और उम्मीद के भाव से देख रहा है
उन्होंने कहा- नए रास्तों पर चलकर ही नए प्रतिमान गढ़े जाते हैं। आज नया भारत नए लक्ष्य तय कर रहा है। नए रास्ते गढ़ रहा है, नया जोश और नई उमंग है, नया सफर है और नई सोच है। दिशा नई है, दृष्टि नई है, संकल्प नया है औऱ विश्वास नया है। आज फिर एक बार पूरा विश्व भारत को भारत के संकल्प की दृढ़ता को और भारतीय जनशक्ति की जिजीविषा को आदर और उम्मीद के भाव से देख रहा है।

सेंगोल कर्तव्य-सेवा और राष्ट्र पथ का प्रतीक, हमनें इसकी गरिमा लौटाई
प्रधानमंत्री ने कहा- जब भारत आगे बढ़ता है तो विश्व आगे बढ़ता है। संसद का ये नया भवन भारत के विकास से विश्व के विकास का आह्वान करेगा। आज इस ऐतिहासिक अवसर पर कुछ देर पहले संसद की नई इमारत में पवित्र सेंगोल की भी स्थापना हुई है। महान चोल साम्राज्य में सेंगोल को कर्तव्य पथ का, सेवा पथ का, राष्ट्र पथ का प्रतीक माना जाता था।

राजाजी और अधीनम के संतों के मार्ग दर्शन में सत्ता के हस्तांतरण का प्रतीक बना था। तमिलनाडु से आए अधीनम के संत संसद में आशीर्वाद देने उपस्थित हुए थे, उन्हें दोबारा श्रद्धापूर्वक नमन करता हूं। पिछले दिनों मीडिया में इसके इतिहास से जुड़ी बहुत सारी जानकारी उजागर हुई है। मैं उसके विस्तार में नहीं जाना चाहता।

ये सौभाग्य है कि पवित्र सेंगोल को हम उसकी गरिमा लौटा सके हैं। उसकी मान-मर्यादा लौटा सके हैं। जब भी कार्यवाही शुरू होगी, ये सेंगोल सभी को प्रेरणा देता रहेगा।

नए भवन में विरासत-वास्तु, कला-कौशल, संस्कृति और संविधान के स्वर हैं

PM ने कहा- भारत समृद्ध राष्ट्रों में गिना जाता था। भारत का वास्तु, विशेषज्ञता का उद्घोष किया जाता था। चोल के भव्य मंदिरों से लेकर जलाशयों और बांधों तक भारत का कौशल विश्व से आने वाले यात्रियों को हैरान कर देता था। लेकिन सैकड़ों साल की गुलामी ने हमसे हमारा ये गौरव छीन लिया। एक ऐसा भी समय आ गया, जब हम दूसरे देशों में हुए निर्माण को देखकर मुग्ध होने लग गए।

21वीं सदी का नया भारत बुलंद हौसले से भरा हुआ भारत। अब गुलामी की उस सोच को पीछे छोड़ रहा है। आज भारत प्राचीन कला की उस गौरवशाली धारा को मोड़ रहा है। संसद की नई इमारत इस प्रयास का जीवंत प्रतीक बनी। इसे देखकर हर भारतीय गौरव से भरा हुआ है। इस भवन में विरासत भी है और वास्तु भी है। कला भी है और कौशल भी है। संस्कृति भी है और संविधान के स्वर भी हैं।

नया संसद भवन समय की मांग थी, यह आधुनिक सुविधाओं से लैस

ये समय की मांग थी कि संसद की नई इमारत का निर्माण किया जाए। मुझे खुशी है कि भव्य इमारत आधुनिक सुविधाओं से लैस है। इस समय भी इस हॉल में सूर्य का प्रकाश सीधे आ रहा है। बिजली कम से कम खर्च हो, हर तक लेटेस्ट गैजेट्स हों..इसका ध्यान रखा गया है।

नए भवन में श्रम को समर्पित एक डिजिटल गैलरी
मोदी ने कहा- संसद भवन ने 60 हजार श्रमिकों को रोजगार देने का काम किया। उन्होंने अपना पसीना बहाया है। इनके श्रम को समर्पित एक डिजिटल गैलरी बनाई गई है, विश्व में ये शायद पहली बार हुआ हो। संसद के निर्माण में उनका योगदान भी अमर हो गया है। कोई एक्सपर्ट पिछले 9 साल का आकलन करे तो ये 9 साल भारत में नव निर्माण और गरीब कल्याण के रहे हैं।

तस्वीरों में नई संसद का उद्घाटन

इनॉगरेशन के दूसरे सेशन में PM मोदी जब सदन में दाखिल हुए तो सभी ने उनका तालियों से स्वागत किया।
इनॉगरेशन के दूसरे सेशन में PM मोदी जब सदन में दाखिल हुए तो सभी ने उनका तालियों से स्वागत किया।
नई संसद में श्रमयोगियों के सम्मान के बाद सर्वधर्म सभा का आयोजन किया गया।
नई संसद में श्रमयोगियों के सम्मान के बाद सर्वधर्म सभा का आयोजन किया गया।
संसद के नए भवन का निर्माण करने वाले श्रमयोगियों का सम्मान करते प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी।
संसद के नए भवन का निर्माण करने वाले श्रमयोगियों का सम्मान करते प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी।
संसद की नई इमारत का उद्घाटन करते PM मोदी। साथ में लोकसभा स्पीकर ओम बिड़ला।
संसद की नई इमारत का उद्घाटन करते PM मोदी। साथ में लोकसभा स्पीकर ओम बिड़ला।
प्रधानमंत्री ने सावरकर जयंती के मौके पर संसद में वीडी सावरकर की तस्वीर पर फूल चढ़ाए।
प्रधानमंत्री ने सावरकर जयंती के मौके पर संसद में वीडी सावरकर की तस्वीर पर फूल चढ़ाए।
संसद में स्पीकर की कुर्सी के बगल में सेंगोल को स्थापित करते प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी।
संसद में स्पीकर की कुर्सी के बगल में सेंगोल को स्थापित करते प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी।
सेंगोल ग्रहण करने के बाद प्रधानमंत्री संतों का आशीर्वाद लेकर संसद की ओर रवाना हुए।
सेंगोल ग्रहण करने के बाद प्रधानमंत्री संतों का आशीर्वाद लेकर संसद की ओर रवाना हुए।
हवन के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सेंगोल को साष्टांग प्रणाम किया।
हवन के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सेंगोल को साष्टांग प्रणाम किया।
हवन के दौरान प्रधानमंत्री मोदी के साथ स्पीकर ओम बिड़ला। इस दौरान सेंगोल की पूजा की गई।
हवन के दौरान प्रधानमंत्री मोदी के साथ स्पीकर ओम बिड़ला। इस दौरान सेंगोल की पूजा की गई।
संसद पहुंचने के बाद सबसे पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राष्ट्रपिता महात्मा गांधी को नमन किया। साथ में स्पीकर ओम बिड़ला मौजूद थे।
संसद पहुंचने के बाद सबसे पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राष्ट्रपिता महात्मा गांधी को नमन किया। साथ में स्पीकर ओम बिड़ला मौजूद थे।

नई संसद के उद्घाटन का कार्यक्रम

  • कार्यक्रम सुबह साढ़े 7 बजे से पूजा और हवन के साथ शुरू हुआ। यह 7 घंटे चलेगा।
  • सुबह करीब 8 बजे लोकसभा में स्पीकर की कुर्सी के पास सेंगोल की स्थापना की गई। पार्लियामेंट लॉबी में प्रार्थना सभा हुई।
  • 12 बजे नई पार्लियामेंट बिल्डिंग से जुड़ी दो शॉर्ट फिल्में दिखाई जाएंगीं। इसके बाद राष्ट्रपति और उपराष्ट्रपति का संदेश पढ़ा गया।
  • दोपहर 1 बजे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 75 रुपए का स्पेशल सिक्का और स्टाम्प जारी किया।
  • 10 मिनट बाद प्रधानमंत्री स्पीच देंगे और ढाई बजे कार्यक्रम का समापन होगा।

शाहरुख-अक्षय ने नई संसद के वीडियो को दी आवाज
उद्घाटन से पहले प्रधानमंत्री ने पार्लियामेंट बिल्डिंग के वीडियो के लिए सभी से वॉयस ओवर देने की अपील की थी। इसके बाद शाहरुख खान, अक्षय कुमार और अनुपम खेर जैसे सेलिब्रिटीज ने इस वीडियो में अपनी आवाज दी। मोदी ने ट्वीट कर शाहरुख और अक्षय कुमार के वॉयस ओवर की तारीफ की।

₹75 का सिक्का जारी हुआ, इसकी खासियत जाने...

  • सिक्के के दोनों तरफ अशोक स्तंभ, जिस पर भारत और इंडिया लिखा है।
  • इसके नीचे रुपए के चिह्न के साथ 75 लिखा है।
  • सिक्के के दूसरी तरफ संसद की तस्वीर होगी और उसके नीचे 2023 लिखा है।
  • इस सिक्के को कोलकाता की टकसाल में ढाला गया है।
  • सिक्के का डायमीटर 44 मिमी है। इसका वजन 34.65-35.35 ग्राम है।
  • इस सिक्के में 50% सिल्वर, 40% कॉपर, 5% निकल और 5% जिंक है।
  • सिक्के के एक तरफ अशोक स्तंभ होगा, जिसके नीचे सत्यमेव जयते लिखा है।
  • बाईं ओर देवनागरी में भारत और दाईं ओर अंग्रेजी में इंडिया लिखा होगा।
  • नए सिक्के में रुपए का साइन होगा और लायन कैपिटल के नीचे 75 रुपए लिखा होगा।
  • सिक्के की दूसरी साइड पर संसद परिसर की तस्वीर होगी।
  • तस्वीर के ऊपर देवनागरी में संसद संकुल और नीचे अंग्रेजी में पार्लियामेंट कॉम्प्लेक्स लिखा है।

नई संसद की खासियत

  • अभी लोकसभा में 590 लोगों की सीटिंग कैपेसिटी है। नई लोकसभा में 888 सीटें हैं और विजिटर्स गैलरी में 336 से ज्यादा लोगों के बैठने का इंतजाम है।
  • अभी राज्यसभा में 280 की सीटिंग कैपेसिटी है। नई राज्यसभा में 384 सीटें हैं और विजिटर्स गैलरी में 336 से ज्यादा लोग बैठ सकेंगे।
  • लोकसभा में इतनी जगह होगी कि दोनों सदनों के जॉइंट सेशन के वक्त लोकसभा में ही 1272 से ज्यादा सांसद साथ बैठ सकेंगे।
  • संसद के हर अहम कामकाज के लिए अलग-अलग ऑफिस हैं। ऑफिसर्स और कर्मचारियों के लिए भी हाईटेक ऑफिस की सुविधा है।
  • कैफे और डाइनिंग एरिया भी हाईटेक है। कमेटी मीटिंग के अलग-अलग कमरों में हाईटेक इक्विपमेंट लगाए गए हैं।
  • कॉमन रूम्स, महिलाओं के लिए लाउंज और VIP लाउंज की भी व्यवस्था है।

नए संसद भवन में देश के हर क्षेत्र की झलक देखने को मिलेगी। इसकी फ्लोरिंग त्रिपुरा के बांस से की गई है। कालीन मिर्जापुर का है। लाल-सफेद सैंड स्टोन राजस्थान के सरमथुरा का है। वहीं निर्माण के लिए रेत हरियाणा के चरखी दादरी से और भवन के लिए सागौन की लकड़ी नागपुर से मंगाई गई है।

भवन के लिए केसरिया हरा पत्थर उदयपुर, लाल ग्रेनाइट अजमेर के पास लाखा और सफेद संगमरमर राजस्थान के ही अंबाजी से मंगवाया गया है। लोकसभा और राज्यसभा की फाल्स सीलिंग में लगाई गई स्टील की संरचना दमन-दीव से मंगाई गई है। वहीं, संसद में लगा फर्नीचर मुंबई में तैयार किया गया। पत्थर की जाली का काम राजस्थान के राजनगर और नोएडा से करवाया गया।

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