REWA में आउटसोर्स कर्मचारियों पर भड़के डिप्टी सीएम : कहा- 'इन सबको निकलवाना है, नए आदमियों की भर्ती करेंगे : जानिए पूरा मामला

 
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रीवा में डिप्टी सीएम आवास घेरकर बैठे आउटसोर्स कर्मचारियों पर डिप्टी सीएम राजेंद्र शुक्ल नाराज हो गए। उन्होंने कहा कि 'इन सबको निकलवाना है, नए आदमियों की भर्ती करेंगे। पहले तो हाथ जोड़कर नौकरी मांगते हैं, फिर दादागीरी करते हैं।' दरअसल, आउटसोर्स कर्मचारी शनिवार दोपहर से डिप्टी सीएम राजेंद्र शुक्ल के आवास के बाहर उनसे मुलाकात और विरोध जताने के लिए बैठै थे। जिसके बाद डिप्टी सीएम उनसे मिलने के लिए बाहर आ गए। आते ही भड़क गए। उन्होंने मौके पर ही थाना प्रभारी को गिरफ्तारी के निर्देश दे दिए। साथ ही आउटसोर्स और सफाई कर्मचारियों को जमकर फटकार भी लगाई।

डिप्टी सीएम ने कहा
ये लोग हाथ जोड़कर नौकरी मांगते हैं, फिर दादागिरी करते हैं। इन सब को निकलवाना है। नए आदमियों को भर्ती करना है, जिन्होंने टोटियां तोड़ी है, उन्हें बंद करो। सब को बंद कर दो। हम नगर निगम से सफाई कर्मचारी बुलाकर सफाई करवा लेंगे। जिन्होंने टोटी तोड़ी है और गंदगी फैलाई है, उसे किसी कीमत पर नहीं छोड़ेंगे। कोई यहां पर फालतू बात नहीं करेगा। अपनी मोबाइल रिकार्डिंग बंद करो। दरअसल, प्रदर्शन के दौरान आउटसोर्स कर्मचारियों पर तोड़-फोड़ और गंदगी करने के आरोप हैं। जिसे लेकर डिप्टी सीएम ने उन पर गुस्सा जताया।

5 दिनों से प्रदर्शन कर रहे आउटसोर्स कर्मचारी
रीवा में संजय गांधी अस्पताल, सुपर स्पेशलिटी हॉस्पिटल और गांधी मेमोरियल में आउटसोर्स कर्मचारी 13 सूत्रीय मांगों को लेकर लगातार प्रदर्शन पर हैं। शनिवार को 5वें दिन भी आउटसोर्स कर्मचारियों का प्रदर्शन जारी रहा। बता दें कि ये कर्मचारी श्याम शाह मेडिकल कॉलेज के बाहर अपनी मांगों को लेकर प्रदर्शन कर रहे हैं। बुधवार रात कैंडल मार्च भी निकाल चुके हैं। शनिवार दोपहर को सभी कर्मचारी इकट्ठे होकर डिप्टी सीएम राजेंद्र शुक्ल के आवास पहुंचे और यहीं बैठ गए। सुरक्षा के लिहाज से मौके पर भारी पुलिस बल भी पहुंचा। जिसके बाद डिप्टी सीएम उनसे मिलने बाहर आए।

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हड़ताली कर्मचारियों पर गंदगी फैलाने के आरोप
अस्पताल प्रबंधन आउटसोर्स कर्मचारियों को मनाने की कोशिश कर रहा है, लेकिन आउटसोर्स कर्मचारी मानने के लिए तैयार नहीं हैं। अस्पताल प्रबंधन का आरोप है कि हड़ताल में बैठे कर्मचारियों ने अस्पताल में गंदगी फैलाने का प्रयास किया, जिसके बाद माहौल बिगड़ गया। इसकी अस्पताल प्रबंधन ने पुलिस को सूचना दी है।

श्याम शाह मेडिकल कॉलेज के डीन सुनील ने कहा
हमें काम चाहिए। कंपनी किस तरह से करवाती है, इससे मतलब नहीं है। यदि इस दौरान कोई अव्यवस्था फैलाता है तो उसके खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी।

कर्मचारी बोले- हमें केवल कोरा आश्वासन मिला
इधर हड़ताल पर बैठे कर्मचारियों ने कहा कि उनका शोषण किया जा रहा है। वह अपनी मांगों को लेकर कई बार कंपनी सहित अस्पताल प्रबंधन से भी बात कर चुके हैं, लेकिन उन्हें केवल आश्वासन मिला। हड़ताल पर बैठे कर्मचारियों ने बताया कि यदि उनकी मांगों को पूरा नहीं किया जाता तो वह लगातार हड़ताल पर बैठे रहेंगे। बताया जा रहा है कि आउटसोर्स कर्मचारी पहले भी हड़ताल कर चुके हैं। पहले उन्हें आश्वासन देकर मना लिया गया था।

आउटसोर्स कर्मचारी दीप शिखा ने बताया-
हमारी जो मांगे हैं, उसमें यूडीएस कंपनी की बकाया राशि मुहैया कराने समेत संस्था के सभी अस्थाई कर्मचारियों को ग्रैचुइटी एक्ट 1972 के तहत इसका लाभ देना शामिल है। इसी तरह से संस्था में चल रही अस्थाई कर्मचारियों की भर्ती प्रक्रिया की जगह पहले से संस्था में काम कर रहे अस्थाई कर्मचारियों को सही जगह देने की मांग है। दीप शिखा ने बताया कि हमें बार-बार आश्वासन दिया जाता है। हड़ताल समाप्त होने के बाद लोगों को चिह्नित कर उनका ट्रांसफर या फिर ड्यूटी से हटाने की धमकी दी जाती है। आउटसोर्स कर्मचारियों का कहना है कि इस बार आर-पार की लड़ाई होगी।

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