REWA NEWS : रीवा में शुरू क‍िया ऐसा प्लांट, जो कूड़े से पैदा करेगा बिजली, लोग देख कर हुए हैरान

 
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Waste to Energy Plant Inaugurated: मध्य प्रदेश के रीवा जिले में कूड़े से बिजली बनाने का प्लांट शुरू हो गया है। डिप्टी सीएम राजेंद्र शुक्ला ने कूड़े से बिजली बनाने के प्लांट का उद्‌घाटन किया।उन्होंने कहा कि विंध्य क्षेत्र से हर रोज निकलने वाले कचरे से वेस्ट टु पावर प्लांट की मदद से बिजली बनाई जाएगी

रायपुर कर्चुलियान तहसील अन्तर्गत पहाड़िया में ग्राम में शुक्रवार को 158.67 करोड़ की लागत से बनकर तैयार हुए नवनिर्मित वेस्ट टू एनर्जी प्लांट के कमिशनिंग एवं ग्रिड सिंक्रो नाइजेशन का लोकार्पण मध्यप्रदेश के उपमुख्यमंत्री के द्वारा किया गया।

नवनिर्मित वेस्ट टू एनर्जी प्लांट में रीवा संभाग के 28 नगरीय निकायों का 350 मिट्रिक टन कचरा एकत्रित किया जाएगा।जिसके बाद इसी कचरे से 6 मेगावॉट बिजली का उत्पादन किया जाएगा। इसके साथ ही कचरे से जलकर उत्सर्जित होने वाली हानिकारक गैसों को उपचारित करने के बाद उसे वायुमंडल में छोड़ा जाएगा

डिप्टी सीएम ने किया वेस्ट टू एनर्जी प्लांट का लोकार्पण शुक्रवार को मध्य प्रदेश के डिप्टी सीएम जेन्द्र शुक्ला ने पहाड़िया ग्राम में नवनिर्मित वेस्ट टू एनर्जी प्लांट का लोकार्पण किया। इस प्लांट को रीवा के क्षेत्रीय एकीकृत ठोस अपशिष्ट प्रबंधन योजना (पी.पी. माडल) के तहत निर्माण किया गया है।

इस प्लांट में नगर निगम रीवा एवं सतना सहित, रीवा- सीधी, मैहर एवं मऊगंज जिले के 28 नगरीय निकायों से उत्पन्न होने वाले कचरे को एकत्रित कर 6 मेगावाट बिजली का उत्पादन किया जाएगा। योजना की लागत 158.67 करोड़ रूपये है। जिसमें 55 प्रतिशत राशि शासन द्वारा एवं 45 प्रतिशत राशि एमएसडब्ल्यू मैनेजमेन्ट सॉल्यूशन लिमिटेड रीवा द्वारा देय होगा तथा जिसका पूर्ण स्वामित्व रामकी इन्वायरो इजीनियर लिमटेड हैदराबाद का है। 350 मीट्रिक टन कचरे से उत्पन्न होगी 6 मेगावॉट बिजली इस प्लाट से बनने वाली बिजली के क्रय लिए ऊर्जा विभाग से अनुबंध किया गया है‌। क्लस्टर में सम्मिलित सभी 28 नगरीय निकायों से उत्पन्न होने वले 350 मीट्रिक टन प्रतिदिन कचरे का परिवहन कर वैज्ञानिक तरीके से कचरे का प्रसंस्करण करते हुये 6 मेगावाट बिजली बनाई जाएगी। प्लांट के निर्मित हो जाने से वैज्ञानिक पद्धति से कचरे का निष्पादन किया जाएगा। कचरा जलने के उपरांत निकलने वाली राख का पुर्नउपयोग हो सकेगा, पुराने एकत्रित कचरे (लीगेसी बेस्ट) का निस्तारण हो सकेगा, तथा कचरे के जलने से उत्सर्जित होने वाली हानिकारक गैसों का उपचारित कर वायुमंडल में छोड़ा जावेगा।

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