REWA में ट्रैफिक सूबेदार के मारपीट का वीडियो वायरल, यातायात पुलिस की हो रही जमकर किरकिरी : जानिए पूरा मामला

 
xdvcvb

रीवा ट्रैफिक पुलिस के सूबेदार सुगम चतुर्वेदी का एक मारपीट का वीडियो जमकर वायरल हो रहा है। जिसमें वे एक शख्स के साथ मारपीट करते हुए देखे जा रहे हैं। हलांकि वीडियो कब का है अभी तक ये स्पष्ट नही हो पाया है पर वीडियो के वायरल होने के बाद रीवा में अब इसको लेकर काफ़ी विरोध देखा जा रहा है। जिसके बाद अब रीवा यातायात पुलिस की जमकर किरकिरी भी हो रही है। साथ ही रीवा में मुख्यमंत्री के द्वारा दिए गए उस बयान की भी चर्चा तेज हो गई है जिसमें उन्होंने कहा था कि आम जनता से कोई भी अधिकारी अगर अभद्रता करेगा तो उस पर कठोर कार्यवाही की जाएगी।

सूबेदार के मारपीट के वायरल वीडियो को लेकर रीवा के समाजसेवी और अधिवक्ता बी के माला ने यातायात पुलिस और सूबेदार को आड़े हाथों लेते हुए कहा कि वीडियो में साफतौर पर देखा जा सकता है कि सूबेदार कैसे उग्र होकर व्यक्ति से मारपीट करते हुए नजर आ रहे हैं। अगर यही काम कोई आम आदमी करता तो पुलिस उसके खिलाफ तुरंत एक्शन ले लेती। इसलिए इस तरह की मारपीट करने वाले सूबेदार पर भी एफआईआर दर्ज होनी चाहिए और साथ ही निलंबन की कार्यवाही भी होनी चाहिए। क्योंकि इनको सूबेदार शांति व्यवस्था बनाने के लिए नियुक्त किया गया है ना कि अशांति पैदा करने के लिए।

उन्होंने कहा कि अगर संबंधित व्यक्ति पर कार्यवाही ही करनी थी तो पुलिस अधिनियम के तहत व्यक्ति पर चालानी कार्यवाही कर गाड़ी की ज़ब्ती की कार्यवाही भी की जा सकती थी। लेकिन कानून में यातायात पुलिस को कहीं भी ऐसा अधिकार नही दिया गया है की इस प्रकार से लोगों को बीच सड़क पर रोककर मारपीट की जाए। उन्होंने कहा कि पुलिस अधिनियम और यातायात नियमों के वर्णित प्रावधानों में किसी भी प्रकार की मारपीट और यात्रियों के मार्ग में अवरोध उत्पन्न करने का हक़ यातायात पुलिस को नही दिया गया है। यातायात पुलिस का गठन ही इसलिए किया गया है कि अगर मार्गों में कोई अवरोध हो तो उन्हें आसान बनाया जा सके। लेकिन दुर्भाग्य से रीवा में इस तरह की घटनाएं अब आम हो गई हैं। जबकि सीएम ने रीवा में वादा भी किया था कि कोई भी अधिकारी अगर जनता से अभद्रता करेगा तो कार्यवाही होगी।

उन्होंने कहा कि लोगों और पुलिसकर्मियों की सुविधा को ध्यान में रखते हुए आजकल ऑनलाइन चालान की सुविधा भी इसीलिए दी गई है। जब पूरा देश और प्रदेश ऑनलाइन हो चुका है उस समय रीवा में इस प्रकार की मारपीट की घटनाएं सामने आ रही हैं। उन्होंने कहा कि रीवा में सूबेदार और पुलिस अधिकारी नियमविरूद्ध और मनमौजी तरीके से कही भी चेकिंग लगा लेते हैं और फिर इस प्रकार की मारपीट और अभद्रता की घटनाएं देखने और सुनने को मिलती हैं। आम लोगों के साथ भी अपराधियों की तरह ही व्यवहार किया जाता है। हाईकोर्ट ने भी हेलमेट अभियान को लेकर कार्यवाही करने और समझाइश देने के लिए कहा है ना कि मारपीट और अभद्रता करने के लिए। अपराधकारित ना हो इसलिए पुलिस है अगर पुलिस खुद ही अपराध करेगी तो आम लोगों की सुरक्षा का क्या होगा।

आम आदमी पार्टी के नेता अमित सिंह ने कहा कि औकात पूछने वाले कलेक्टर का वीडियो वायरल हुआ तो कार्यवाही हुई। पर इस तरह के अधिकारी भी हैं जो आम जनता के साथ हर रोज बेतहाशा अन्याय करते हैं। उन्होंने कहा कि इस चीज की बिल्कुल जरूरत नही है कि किसी के साथ मारपीट की जाए। क्योंकि कोर्ट ने जब नियम बना दिए हैं कि अगर कोई व्यक्ति यातायात नियमों का पालन नही करता तो आप चालान बनाकर कोर्ट में पेश कर दीजिए। यातायात पुलिस को अधिक बातचीत की भी जरूरत नही है।

उन्होंने कहा कि अगर ट्रैफिक पुलिस का सारा ध्यान पैसा इकट्ठा करने में लग जाएगा तो वे ट्रैफिक की समस्याओं के बारे में कभी नही सोचेंगे। पूरे मामले में रीवा एसपी विवेक सिंह का कहना है कि आप के माध्यम से ये वीडियो देखा है। जिसमें कुछ पुलिसकर्मी मारपीट कर रहे हैं पर ये संज्ञान नहीं है कि वीडियो कब का है। शिकायत मिलने पर आवश्यक रूप से कार्यवाही की जाएगी। रीवा एसपी ने कहा कि अगर कोई भी पुलिसकर्मी किसी भी तरह की अभद्रता या मारपीट करता है तो कोई भी व्यक्ति उनकी शिकायत कर सकता है। उन्होंने कहा कि लगातार पुलिसकर्मियों को समझाइश दी जाती है कि किसी के साथ अभद्र व्यवहार नहीं करना है। इसके बाद भी दोषी पाए जाने पर कार्यवाही की जाएगी।

Related Topics

Latest News