मूसेवाला की पिस्टल में पूरे कारतूस होते तो शायद बच जाते, मॉडर्न गन से हुई फायरिंग, थार के अंदर फैल गया धुआं
पंजाबी सिंगर सिद्धू मूसेवाला हत्याकांड को सटीक रेकी के साथ अंजाम दिया गया। हत्यारे 3 दिन से मूसेवाला की रेकी कर रहे थे। हत्याकांड में इस्तेमाल कोरोला कार में ही रेकी होती रही। पुलिस ने मूसेवाला के घर के CCTV फुटेज कब्जे में लेकर इसकी जांच शुरू कर दी है। जब कार के जरिए हत्यारों ने पीछा किया तो मूसेवाला उन्हें फोटो खिंचवाने वाले फैन समझते रहे। हालांकि, अगर उनके पिस्टल में पूरे कारतूस होते तो शायद मूसेवाला की जान बच सकती थी। मूसेवाला के साथ थार में मौजूद गुरविंदर सिंह और गुरप्रीत सिंह ने इस पूरे ब्यौरे की पुष्टि की।
सिद्धू मूसेवाला के साथ थार जीप में सवार दोस्त इस वक्त लुधियाना के DMC अस्पताल में भर्ती हैं। पुलिस ने उनकी सुरक्षा पूरी तरह से सख्त कर दी है। किसी भी बाहरी व्यक्ति को उनसे मिलने की इजाजत नहीं है।
सिद्धू मूसेवाला के साथ थार जीप में सवार दोस्त इस वक्त लुधियाना के DMC अस्पताल में भर्ती हैं। पुलिस ने उनकी सुरक्षा पूरी तरह से सख्त कर दी है। किसी भी बाहरी व्यक्ति को उनसे मिलने की इजाजत नहीं है।
बुलेट प्रूफ फॉर्च्यूनर नहीं, पजेरो ले जा रहे थे सिद्धू, पंचर मिली तो थार निकाली
सिद्धू मूसेवाला घर पर बैठे थे। अचानक बोले कि मौसी का हालचाल लेने जाना है। मूसेवाला ने पहले पजेरो निकाली। पजेरो में गनमैन भी उनके साथ जाने थे। हालांकि, वह पंचर निकली। यह देख मूसेवाला ने थार निकाल ली। गनमैन करीब आए तो बोले कि थोड़ी ही दूर जाना है। 10 मिनट में लौट आएंगे। थार में जगह कम थी इसलिए गनमैन नहीं लिए।
कोरोला पीछे लगी तो फैन समझा
मूसेवाला थार जीप खुद चला रहे थे। जैसे ही वह घर से 500 मीटर बाद मेन रोड पर आए तो उनके पीछे कोरोला गाड़ी लग गई। एक दोस्त ने कहा कि शायद कोई हमारा पीछा कर रहा है। हमें रास्ता बदल लेना चाहिए। इस पर मूसेवाला बोले कि कोई फैन होगा। फोटो खिंचवाने या मिलने आ रहा होगा। ऐसा मूसेवाला के साथ पहले भी होता था। फैन पीछा करते और जहां मूसेवाला रुकते, वहां मिलकर फोटो खिंचवा लेते।
पहले उलटी दिशा में मुड़ी कोरोला, फिर पीछा शुरू किया
तलवंडी-मानसा रोड पर दाएं और बाएं 2 रास्ते थे। मूसेवाला ने थार बाएं तरफ मोड़ी तो कोरोला दाएं तरफ मुड़ गई। यह कोरोला गाड़ी वालों की चाल थी। अगर वह पीछे ही जाते तो मूसेवाला समझ जाते कि यह फैन नहीं, बल्कि कोई गलत इरादे से पीछा कर रहा है। जब कोरोला दूसरी दिशा में मुड़ी तो मूसेवाला ने दोस्त गुरविंदर और गुरप्रीत को कहा कि वह फैन ही थे। फिर अचानक कोरोला तेज गति से पीछे से आई और ओवरटेक करते हुए बराबर आकर चलने लगी।
मूसेवाला की पिस्टल फुल लोड होती तो शायद भाग जाते हत्यारे
कोरोला गाड़ी में सवार हमलावरों ने थार पर फायरिंग शुरू कर दी। उन्होंने गोली मारकर उसके तीनों टायर पंचर कर दिए। मूसेवाला ने दोस्तों को कहा कि घबराओ मत, हौसला रखो, मेरे पास पिस्टल है। इसके बाद मूसेवाला ने पिस्टल निकाली और लगातार 2 फायर किए। यह देख कोरोला वाले डर गए कि मूसेवाला के पास भी हथियार है। उन्होंने कोरोला आगे भगा ली। हालांकि, पिस्टल में सिर्फ 2 ही कारतूस थे। इसका पता मूसेवाला को भी नहीं था। जब पीछे फायरिंग बंद हुई तो कोरोला वाले रुक गए। तब तक उनके बोलेरो वाले साथी भी आ गए और मूसेवाला पर अटैक कर दिया गया।
मॉडर्न गन से हुई फायरिंग, थार के अंदर फैल गया धुआं
गुरविंदर और गुरप्रीत ने कहा कि उन्हें सिर्फ थार के टायरों पर फायरिंग का पता चला। जैसे ही टायर पंचर होने से थार रुकी। मूसेवाला की गोलियां खत्म हो गईं तो सामने से ताबड़तोड़ फायरिंग होने लगी। उनके पास मॉडर्न गन थी, जिससे गोलियां लगातार चल रही थीं। थार के अंदर धुआं भर गया। उनका टारगेट सिर्फ और सिर्फ मूसेवाला था। बोनट पर चढ़कर भी उन्होंने ड्राइवर साइड पर फायरिंग की। मूसेवाला लुढ़ककर आगे बैठे साथी की गोद में गिर गए। मूसेवाला की मौत तय करने के बाद ही वह हत्यारे वहां से भागे। मूसेवाला की हत्या में रूसी AN-94 असॉल्ट राइफल के इस्तेमाल की आशंका जताई जा रही है।